मंडला जिले की शुचि उपाध्याय ने गेंदबाजी से राष्ट्रीय स्तर पर बनाई पहचान ।
जिले की बेटी शुचि उपाध्याय भारतीय महिला क्रिकेट टीम में हुई शामिल
मंडला जिले की बेटी शुचि उपाध्याय भारतीय महिला क्रिकेट टीम में शामिल होकर जिले का नाम राष्ट्रीय स्तर पर रौशन कर रही है। शुचि उपाध्याय ने अपनी स्पिन गेंदबाजी से भारतीय महिला क्रिकेट टीम में स्थान बनाई है, उसकी स्पिन गेंदबाजी से दिग्गज खिलाड़ी आउट होकर पेवेलियन लौटने को मजबूर हो रहे हैं। शुचि उपाध्याय अपनी फिरकी गेंदबाजी से मध्यप्रदेश की सीनियर टीम में शामिल होने के बाद भारतीय महिला क्रिकेट टीम में शामिल हो चुकी है। शुचि उपाध्याय का सपना भारतीय महिला क्रिकेट टीम में शामिल होने का था। उसका यह सपना अब पूरा हो गया है। वह भारत देश के लिए खेलते हुए अपनी स्पिन गेंदबाजी से देश का गौरव बढ़ा रही है। शुचि उपाध्याय के पिता सुधीर उपाध्याय ने बताया कि मंडला के महात्मा गांधी मैदान से लड़कों के ओपन टूर्नामेंट में अपनी स्पिन गेंदबाजी का जौहर दिखाने वाली उनकी बेटी शुचि उपाध्याय महिला क्रिकेट खिलाड़ी मध्यप्रदेश टीम में शामिल रही बल्कि वर्ष 2024-25 में देश की सीनियर वूमेन नेशनल ट्रॉफी में प्लेयर ऑफ सीरीज का खिताब भी अपने नाम कर सभी चयनकर्ताओं को अपने खेल की ओर आकर्षित किया है।
सुधीर उपाध्याय ने बताया कि भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड ने श्रीलंका में होने वाले त्रिकोणीय श्रृंखला के लिए महिला भारतीय क्रिकेट टीम की घोषणा की। भारतीय महिला क्रिकेट टीम में मंडला जिले की क्रिकेट खिलाड़ी शुचि उपाध्याय को शामिल किया गया। उन्होंने बताया कि विगत दिवस मध्यप्रदेश सीनियर महिला क्रिकेट टीम ने राजकोट में खेले गए फाइनल मैच में बंगाल को हराकर जीत हासिल की थी। इसके बाद टीम के आठ महिला खिलाड़ियों का चयन राष्ट्रीय स्तर पर होने वाली चैलेंजर ट्राॅफी के लिए किया गया। शुचि उपाध्याय भी चैलेंजर ट्राॅफी में शामिल हुई। इसके बाद चेन्नई में आयोजित टूर्नामेंट में शुचि उपाध्याय भारत डी टीम का हिस्सा बनकर बेहतरीन स्पिन गेंदबाजी की। उन्होंने बताया गया कि शुचि उपाध्याय को नेशनल सीनियर वूमेन ट्राॅफी में प्लेयर ऑफ द सीरीज घोषित किया गया था। शुचि ने टूर्नामेंट के दौरान शानदार गेंदबाजी करते हुए 18 विकेट अपने नाम किए थे।
सुधीर उपाध्याय ने बताया कि शुचि उपाध्याय बचपन से ही अपने घर के नजदीक गली-मोहल्ले में क्रिकेट खेलने वाले लड़कों के साथ क्रिकेट खेला करती थी। वह अपनी बेटी को क्रिकेट खेलते देखते थे तो उनको लगता था कि उनकी बेटी क्रिकेटर बनना चाहती है। सुधीर उपाध्याय ने अपनी बेटी के सपने को साकार करने के लिए उसे क्रिकेट में आगे बढ़ाना शुरु किया। उन्होंने बताया कि जब उसे क्रिकेट की ट्रेनिंग शुरु कराई तो मंडला में कोई भी लड़की क्रिकेट नहीं खेलती थी। स्थानीय स्तर पर आयोजित होने वाले लड़कों की क्रिकेट प्रतियोगिता में आयोजकों और खिलाड़ियों से बात कर उसे खेलाना शुरू किया। शुचि उपाध्याय ने क्रिकेट में अच्छा प्रदर्शन किया और इसके बाद तो कम उम्र में ही उसे जिला स्तरीय क्रिकेट टूर्नामेंट में खेलने का मौका मिलने लगा और उसके खेल में निखार भी आता गया। इसके बाद शुचि उपाध्याय ने अपनी खेल प्रतिभा को निखारने लगाकर मेहनत करने लगी। इसके बाद एकडमी ज्वाइन की और संभाग स्तरीय टीम में खेलने का मौका मिला। इसके बाद शुचि उपाध्याय के बढ़ते कदम कभी भी पीछे नहीं हटे, वह आगे बढ़ते ही गई। सुधीर उपाध्याय ने बताया कि शुचि उपाध्याय को दो वर्षों में ही बालिका क्रिकेट की अंडर 19, अंडर 23 एवं सीनियर टीम मध्यप्रदेश में शामिल होने का अवसर प्राप्त किया है। विगत दिवस आयोजित हुए एक दिवसीय महिला क्रिकेट फार्मेट के टूर्नामेंट में मंडला जिले की इस खिलाड़ी का एमपी टीम में उल्लेखनीय योगदान रहा है। शुचि उपाध्याय का सपना था कि वह भारतीय महिला क्रिकेट टीम में शामिल होकर अपने देश के लिए खेलना चाहती है। अब वह सपना भी पूरा हो गया है।
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